UP UK new Expressway: उत्तर भारत के लिए बड़ी खुशखबरी सामने आई है. उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश को जोड़ने वाला ₹1.20 लाख करोड़ लागत वाला नया ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे अब जमीन पर उतरना शुरू हो गया है. यह नया हाई-स्पीड कॉरिडोर दोनों राज्यों के बीच सफर को तेज, सुरक्षित और बेहद सुगम बनाएगा. परियोजना पूरी होने के बाद दिल्ली–देहरादून और यूपी–उत्तराखंड के कई प्रमुख मार्गों पर ट्रैफिक का दबाव भी काफी कम होगा. यह एक्सप्रेसवे पहाड़ और मैदान की दूरी को न सिर्फ घटाएगा, बल्कि पर्यटन, व्यापार और औद्योगिक विकास में भी नई ऊर्जा भर देगा.

UP UK new Expressway: रूट प्लानिंग और शहर
नया ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे बेहद रणनीतिक रूट से होकर गुजरेगा. उत्तर प्रदेश में यह सहारनपुर, बijnor, मुरादाबाद, रामपुर और पीलीभीत जैसे बड़े जिलों को छूते हुए आगे बढ़ेगा. इसके बाद यह उत्तराखंड की ओर मुड़कर ऊधम सिंह नगर, काशीपुर और खटीमा जैसे प्रमुख शहरों से होकर जाएगा. इस रूट के चयन का मुख्य उद्देश्य है—दोनों राज्यों के बीच औद्योगिक कॉरिडोर को मजबूत करना और लोगों के लिए तेज़ आवागमन सुनिश्चित करना.
यात्रा समय और परफॉर्मेंस
एक्सप्रेसवे की कुल प्रस्तावित लंबाई लगभग 240–260 किलोमीटर के बीच मानी जा रही है और इसे 120 km/h+ क्रूज़ स्पीड के हिसाब से डिजाइन किया जा रहा है. पूरा रूट बनने के बाद यूपी–उत्तराखंड की यात्रा का समय 50% तक कम हो जाएगा. जिन यात्राओं में पहले 5–6 घंटे लगते थे, वे अब 2.5 से 3 घंटे में पूरी हो सकेंगी. यह एक्सप्रेसवे मौसम की मार से भी काफी हद तक सुरक्षित रहेगा और भारी ट्रैफिक वाली मौजूदा हाईवे लाइनों का बोझ कम करेगा.
निर्माण तकनीक और फीचर्स
₹1.20 लाख करोड़ की इस मेगा परियोजना में ग्रीनफील्ड तकनीक का उपयोग किया जा रहा है, जिसमें पूरी तरह नया रास्ता विकसित किया जाता है ताकि यातायात बाधा रहित रहे. एक्सप्रेसवे में स्मार्ट टोलिंग सिस्टम, 24×7 CCTV मॉनिटरिंग, एंबुलेंस कॉरिडोर, ईवी चार्जिंग स्टेशन, और हाई-सुरक्षा बैरियर्स शामिल किए जाएंगे. इसके अलावा बारिश और पहाड़ी इलाकों में पानी जमा होने की समस्या न हो, इसलिए पूरी ड्रेनेज प्रणाली को अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार डिजाइन किया जा रहा है.
आर्थिक लाभ और प्रभाव
इस एक्सप्रेसवे के बनने से यूपी और उत्तराखंड के बीच उद्योग, खेती-बाड़ी और पर्यटन सेक्टर में बड़ा बदलाव देखने को मिलेगा. काशीपुर–रुद्रपुर–रुद्रकीयाई औद्योगिक बेल्ट को सीधा फायदा होगा, वहीं सहारनपुर और बijnor जैसे क्षेत्रों में नए व्यापारिक अवसर खुलेंगे. उत्तराखंड के पहाड़ी जिलों में पर्यटन की पहुंच आसान होने से होटल, ट्रैवल और लोकल रोजगार में तेजी आएगी. बड़ी कंपनियों को तेज ट्रांजिट का लाभ मिलेगा, जिससे निवेश की संभावनाएं भी बढ़ेंगी.